Rhea Chakraborty Podcast: जेल में कैसे रिया चक्रवर्ती ने बीताए थे 6 हफ्ते, बताया जेल में करती थी ये सब काम!!
Rhea Chakraborty Podcast: जैसा कि आप सभी जानते ही होंगे कि सुशांत सिंह राजपूत की मौत के बाद एक्ट्रेस रिया चक्रवर्ती को काफी दुख झेलना पड़ा। उन पर कई आरोप लगे और कई रातें जेल में बिताईं।
ऐसे में अब रिया चक्रवर्ती ने एक पॉडकास्ट पर जेल में बिताए अपने समय के बारे में खुलकर बात की है। उन्होंने बताया कि यह कैसा था और उन्हें कैसा लगा। मालूम हो कि सुशांत सिंह राजपूत मामले के बाद उन्होंने करीब छह हफ्ते जेल में बिताए थे.
करिश्मा मेहता के पॉडकास्ट में रिया चक्रवर्ती ने कहा कि जेल बिल्कुल अलग दुनिया है. वहां कोई समाज नहीं है. हर कोई बराबर है. लेकिन वहां कोई इंसान नहीं है. प्रत्येक व्यक्ति एक संख्या है. इंसान की भावनाएँ इस अजीब दुनिया का मूलभूत हिस्सा हैं। यही वह चीज़ है जो आपको वहां जीवित रखती है।
रिया चक्रवर्ती ने जेल के दिनों को याद करके बताई ये बातें
जेल में अपने समय को याद करते हुए रिया चक्रवर्ती ने कहा कि हर दिन एक साल जैसा था। दिन कभी ख़त्म नहीं होगा. मानो सब कुछ रुक गया हो. रिया ने माना कि उन्हें वहां काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ा. कोई भी नहीं चाहता कि उसे जेल जाने के लिए मजबूर किया जाए।
रिया चक्रवर्ती को होने लगा था डिप्रेशन (Rhea Chakraborty Podcast)
जानकारी के लिए बता दें कि इस पोडकास्ट में रिया चक्रवर्ती ने आगे बताया कि जेल के दौरान उन्हें डिप्रेशन होने लगा था। आंखों के आगे सिर्फ एक काले अंधेरा सा था। न कुछ समझ आता था ना ही कुछ दिखाई देता था।
सारा दिन सिर्फ औऱ सिर्फ नेगेटिविटी में गुजरता था। रिया चक्रवर्ती ने आगे बताया कि वह जिंदगी में बेहद ही पॉजिटिविटी और खुशमिजाज किस्म की महिला रही है, लेकिन जेल से आने के बाद ये सब बदल गया और उनके जीवन में काफी नेगिटिविटी फैल गई।
रिया चक्रवर्ती ने जेल में किए ये काम
आप को बता दें कि जब रिया चक्रवर्ती से पूछा गया कि इतने दिन उन्होंने जेल में क्या किया और अपना सारा टाइम कहां स्पेंड किया। इसके जवाब में रिया चक्रवर्ती ने बताया कि उन्होंने कुछ महिलाओं को योग सिखाना शुरु कर दिया था।
वहीं कई सारी ऐसी महिलाएं थी, जिन्होंने जिंदगी से हार मान ली थी। अब उन्हें अपने जीने से कोई उम्मीद नहीं बची थी, ऐसा लग रहा था। ऐसे में उन महिलाओं को कुछ को डांस सिखाया था तो कुछ को कविताएं सिखाई थी।